( ब्यूरो ,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
हरिद्वार / नैनीताल / देहरादून। हरिद्वार में आयोजित महाकुम्भ को लेकर राज्य सरकार हाईकोर्ट के सख्त रुख के आगे बैकफुट आ गई है। अब स्नानार्थियों को हरिद्वार कुम्भ में आने के लिए 72 घंटे पहले की कोविड नेगेटिव रिपोर्ट या फिर वैक्सीनेशन प्रमाण पत्र लाना अनिवार्य होगा। हाईकोर्ट के सख्ती के बाद उत्तराखण्ड के मुख्य सचिव ओम प्रकाश ने बुधवार को इसके आदेश जारी कर दिए हैं। नोटिफिकेशन जारी होते ही एक अप्रैल से ये व्यवस्था शुरू हो जाएगी। वही 26 ,27 और 28 मार्च को राज्य के मुख्य सचिव, सेक्रेटरी हेल्थ, आईजी मेला 26, 27,28 मार्च को तीन दिन हरिद्वार में कैंप करेंगे और कुंभ की व्यवस्थाओं का जायजा लेंगे।
वही बुधवार को ही सरकार ने कुंभ का नेाटिफिकेशन भी जारी कर दिया। आपको बता दे कि मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने दस मार्च को पदभार संभालते ही सबसे पहले केंद्र की एसओपी को दरकिनार कर कुंभ मेले में कोविड के मददेनजर लगाई गई बाध्यताओं को समाप्त करने की घोषणा की थी। मुख्यमंत्री ने कहा था कि कुंभ बारह साल में आता है, श्रदालु 12 सालों से इसकी प्रतीक्षा कर रहा होता है। उन्होंने देश दुनिया को कुंभ में आने का निमंत्रण देते हुए कहा कि कुंभ के दरवाले सबके लिए खुले हैं, सीएम ने कोविड नेगेटिव रिपोर्ट लाने की बाध्यता को भी समाप्त कर दिया था। इसके अगले ही दिन 11 मार्च को हुए स्नान में इसका प्रभाव भी देखा गया। 11 मार्च को शिवरात्रि के स्नान पर 35 लाख से अधिक श्रदालुओं ने कुंभ में स्नान किया था लेकिन बुधवार को हाईकोर्ट में कुंभ को लेकर लगी याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने एक बार फिर सख्त रूप अपनाते हुए कुंभ के लिए जारी केंद्र की एसओपी के पालन करने के आदेश दिए। हाईकोर्ट ने कुंभ के अधूरे पडे कार्यों पर भी रिपोर्ट तलब की है।
इसके बाद हरकत में आए राज्य के मुख्य सचिव ने बयान जारी कर कहा कि कुंभ में हाईकोर्ट की मंशा के अनुसार केंद्र द्वारा जारी एसओपी का पालन कराया जाएगा। केंद्र द्वारा जारी एसओपी के अनुसार न सिर्फ कोरोना की आरटीपीसीआर नेगेटिव रिपोर्ट लानी अनिवार्य होगी। बल्कि कुंभ में श्रदालुओं की सीमित संख्या भी तय करनी होगी। इस लिहाज से कुंभ के एक बार फिर सीमित हो जाने के आसार बन गए है। वहीं राज्य सरकार के प्रवक्ता सुबोध उनियाल का कहना है कि कुंभ में आने वाली लाखों की भीड़ में एक-एक आदमी की आरटीपीसीआर नेगेटिव रिपोर्ट चेक करना संभव नहीं है। इतना जरूर है कि राज्य सरकार एसओपी का पालन कराने का हर संभव प्रयास करेगी। सुबोध के अनुसार हरिद्वार के सभी बॉर्डर पर आरटीपीसीआर टेस्ट कराने की राज्य सरकार सुविधा उपलब्ध कराएगी। हरिद्वार कुंभ को लेकर हाईकोर्ट की सख्ती के बाद सरकार एक बार फिर सकते में है। कुंभ की व्यवस्थाओं का जायजा लेने के लिए अब राज्य के मुख्य सचिव, सेक्रेटरी हेल्थ, आईजी मेला 26, 27,28 मार्च को तीन दिन हरिद्वार में कैंप करेंगे और कुंभ की व्यवस्थाओं का जायजा लेंगे।