( ब्यूरो ,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
हरिद्वार। आपके बच्चे के साथ ना हो किसी तरह का उत्पीड़न नई उड़ान फाउंडेशन सरकारी स्कूलों में बेहद खास क्लास दे रहा है। आपको बता दे कि हाल ही में एनसीआरबी के आंकड़े आए हैं एनसीआरबी की रिपोर्ट के मुताबिक उत्तराखंड में रोजाना महिलाओं के साथ छात्राओं के साथ दरिंदगी हो रही है। नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो ने जिस तरह के आंकड़े उत्तराखंड को लेकर पेश किए हैं,वह बेहद चिंताजनक है। छात्रों छोटे बच्चों को कैसे समझाया जाए कि उनके साथ जाने अनजाने में शोषण हो रहा है। इसी उद्देश्य के साथ नई उड़ान फाउंडेशन हरिद्वार जिले के कई स्कूलों में बीते कई साल से गुड टच बैड टच वर्कशॉप का आयोजन कर रही है। इस वर्कशॉप में 10 साल के बच्चे से लेकर छात्राओं तक तो यह बात समझाई और बताई जाती है कि कैसे वह उस स्पर्श को जाने जो सही नहीं है। बच्चों को यौन शिक्षा देने के साथ-साथ उन्हें गुड टच बैड टच की जानकारी देना भी मौजूदा समय में बेहद जरूरी विषय हो गया है।
हालांकि अभी भी कई लोग इस बारे में जानकारी देने या बात करने से संकोच करते हैं और शायद यही कारण है कि आज भी समाज में यौन शोषण के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। नई उड़ान फाउंडेशन गुड टच बैड टच की वर्कशॉप हरिद्वार के आसपास शहरी क्षेत्र और ग्रामीण क्षेत्रों के सरकारी स्कूलों में कर रहा है।इसी कड़ी में कनखल स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय नंबर 16 में पांचवी कक्षा तक के बच्चो को ये वर्कशॉप दी गई।
नई उड़ान फाउंडेशन की अध्यक्ष विनीता गुनियाल कहती है कि मौजूदा समय में समाज में विकसित होने की होड़ तो है ही साथ ही साथ आपराधिक भावनाएं भी बढ़ रही हैं। ऐसे में आपराधिक दिमाग वाले लोग हमारे आसपास हर जगह घूम रहे हैं हो सकता है कि एक उम्र के बाद इंसान इन चीजों को पहचानने लगे लेकिन छोटे-छोटे बच्चे इन सब बातों को नहीं जानते ऐसे में जिम्मेदारी हम जैसे लोगों की भी बढ़ जाती है, हमारी फाउंडेशन यही चाहती है कि जो बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ रहे हैं और उनके पढ़ाई के दौरान किसी कारण स्कूल उन्हें यह जानकारी नहीं दे पा रहे हैं ऐसे में हम स्कूलों में जाकर पोस्टर के साथ साथ अपनी बातों से बच्चों को अच्छा स्पर्श और बुरा स्पर्श दोनों की जानकारी देने का काम करते हैं।
हमारा उद्देश्य सिर्फ एक बार स्कूल में जाकर बच्चों को कुछ देर तक बातें बताना नहीं बल्कि महीने 2 महीने बाद दोबारा से स्कूल में जा कर यह जानने की भी कोशिश रहती है कि हमारी बात को बच्चा कितना ध्यान और कितना याद रख रहा है बच्चे बहुत मासूम और नासमझ होते हैं। वह जल्दी हर किसी पर विश्वास कर लेते हैं हमें उन्हें यही जानकारी देनी है कि कैसे हम अच्छे और बुरे के बीच फर्क समझे नई उड़ान फाउंडेशन ने अब तक हरिद्वार के लगभग 30 से अधिक स्कूलों में इस वर्कशॉप का आयोजन किया है।
हम स्कूलों में जाकर बच्चों को यह भी बताने का काम करते हैं कि जो उस स्कूल में आपको बस ड्राइवर ऑटो ड्राइवर या कोई भी अन्य व्यक्ति अगर छोड़कर जा रहा है तो उसका कैसे ध्यान रखना है। खास बात यह है कि इन सब प्रवृत्ति वाले लोगों से बच्चों को शिक्षा तो बता ही सकती है साथ ही साथ माता पिता का भी कर्तव्य बनता है कि वह बच्चों से एक उम्र के बाद खुल कर बात करें। बच्चों को उनकी शारीरिक संरचना के बारे में बताएं अगर बच्चों को कोई गलत तरीके से छू रहा है तो उन बच्चों को ना कहना सिखाएं बच्चों को बताएं कि अगर आपके साथ कुछ ऐसा हो रहा है। तो आपको शोर मचाना है चिल्लाना है ताकि बच्चा किसी पर विश्वास करके कुछ ऐसा सहन ना कर रहा हो। खास बात यह है कि बच्चों के व्यवहार पर भी माता-पिता को भी नजर रखनी पड़ेगी हमारी फाउंडेशन अब इस मिशन को हरिद्वार जिले से बाहर भी जल्दी ले जाएगी ताकि उत्तराखंड के अलग-अलग स्कूलों में भी इस तरह की वर्कशॉप का आयोजन किया जा सके।