( ब्यूरो,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
देहरादून। प्रदेश में लाकडाउन के बाद भी अवैध रूप से शराब बेचने का सिलसिला थमने का नाम नही ले रहा है। लाकडाउन के दौरान पकड़े गये शराब तस्करी के मामलों से यह साफ हो गया है कि इस धंधे को राजनीतिक संरक्षण प्राप्त है। बीते रोज पुलिस ने जिन थाना क्षेत्रों में शराब तस्करी के मामलों में छापेमारी की उनमें से एक आरोपी ग्राम प्रधान बताया जा रहा है जबकि दूसरे मामले में फरार आरोपी को भी राजनीतिक संरक्षण प्राप्त है तथा उसकी पत्नी नगर निगम पार्षद का चुनाव लड़ चुकी है।लाकडाउन के दौरान राजधानी दून में अवैध शराब तस्करी पर कार्यवाही करते हुए पुलिस ने जब दो थाना क्षेत्रों में अवैध शराब कारोबारियों पर शिंकजा कसा और छापेमारी की तो नेहरूकालोनी क्षेत्र में पकड़े गये शराब तस्करों में से एक ग्राम प्रधान निकला। जबकि डालनवाला क्षेत्रांर्तगत करनपुर में छापेमारी के दौरान तीन तस्कर तो दबोच लिये गये लेकिन चैथा तस्कर जिसका नाम गोलू बताया जा रहा है वह फरार होने में सफल रहा। सूंत्रों का कहना है कि करनपुर निवासी गोलू को राजनीतिक संरक्षण प्राप्त है तथा उसकी पत्नी नगर निगम पार्षद का चुनाव लड़ चुकी है। इन मामलों से यह साफ हो गया है कि राजधानी दून में अवैध शराब का यह कारोबार राजनीतिक संरक्षण में अंजाम दिया जा रहा है। इससे पूर्व शहर कोतवाली क्षेत्र के पथरियापीर इलाके में जब जहरीली शराब पीने से कई लोगों की मौत हुई तो पुलिस ने जिस आरोपी को गिरफ्तार किया उसे भी राजनीतिक संरक्षण प्राप्त था।