( ब्यूरो ,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
नई दिल्ली। महाराष्ट्र के कोल्हापुर और आसपास के जिलों में प्री – मानसून की बारिश ने सब्जियों की फसलों को जबरदस्त नुकसान पहुंचाया है। जिसके कारण देशभर में टमाटर की कीमतों में एक बार फिर उछाल आने की सम्भावना है।
जिसके कारण यहां अब कटाई भी स्थगित कर दी गई है। इसका असर टमाटर की फसल पर भी साफ देखा जा रहा है। यहां के सब्जी मंडियों में दूर-दूर से किसान अपनी उपज बेचने के लिए पहुंचते हैं, लेकिन रविवार को ज्यादा किसान टमाटर या पत्तेदार सब्जियां बेचते नहीं दिखे। जो भी किसान टमाटर बेच रहा था, वह या तो खराब हो गया या कच्चा था। इस वजह से यहां टमाटर 100 रुपये प्रति किलो बिकने लगा है। आपको बता दें कि पिछले दिनों ही सब्जियों खासकर टमाटर की कीमत में काफी तेजी आई थी। ऐसे में एक बार फिर से टमाटर की कीमतें आसमान छू सकती हैं।
कोल्हापुर के एक किसान के मुताबिक, 15 मई के बाद से टमाटर 50 रुपये प्रति किलो के हिसाब से बिका है। इससे पहले 30-40 रुपये प्रति किलो बेचा जा रहा था। आपूर्ति कम होने के कारण रविवार को करीब 15 किलो टमाटर ही मिल सका है। आमतौर पर किसानों से चार से पांच क्रेट मिलते हैं। अब किसान परिवहन और श्रमिकों की लोडिंग और अनलोडिंग के लिए अतिरिक्त लागत की वसूली के लिए भी उच्च कीमत की मांग कर रहे हैं।
टमाटर के दाम 100 रुपये पार
बता दें कि पिछले साल इसी दौरान टमाटर 60 रुपये प्रति किलो बिक रहा था और जून के अंतिम सप्ताह तक भाव 100 रुपये प्रति किलो बढ़ गया था । इसके बाद कीमत घटकर 10 रुपये प्रति किलो रह गई । हरी और पत्तेदार सब्जियां एक समान ट्रैक पर चल रही हैं । मेथी का एक गुच्छा जो पिछले रविवार को 15 रुपये में बिक रहा था, 22 मई को खुदरा बाजार में 25 रुपये में बिक रहा था, पालक भी महंगा हो गया है । 15 मई को प्रति गुच्छा 10 रुपये से रविवार को 35 रुपये प्रति गुच्छा पहुंच गया है ।
बारिश ने फसल को नुकसान पहुंचाया
कोल्हापुर जिले के कृषि अधीक्षक के मुताबिक, इस समय टमाटर की खेती के तहत भूमि कम है, क्योंकि यह ऑफ सीजन है । टमाटर की कटाई का मौसम अक्टूबर से शुरू होता है । इसलिए, कम खेती के साथ प्री-मानसून की बारिश ने बढ़ती कीमतों की प्रवृत्ति को प्रभावित किया है ।