( ब्यूरो ,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
रुद्रप्रयाग। चारधाम देवस्थानम बोर्ड को लेकर तीर्थ पुरोहित अब और उग्र हो गए है। जिसके कारण उन्होंने बाबा केदार के दर पर पहुंचे पूर्व सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत को बाबा केदार के दर्शन नहीं करने दिए। इतना ही नहीं कैबिनेट मंत्री धन सिंह रावत और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष को तीर्थ पुरोहितों के गुस्से का सामना करना पड़ा। विरोध के चलते पूर्व सीएम बाबा केदार के दर्शन किए बिना जीएमवीएन के गेस्ट हाउस में लौट गए। वहीं, धन सिंह और मदन कौशिक ने भारी विरोध के बीच ही बाबा के दर्शन किए।
चारधाम यात्रा व्यवस्था और प्रबंधन के लिए उत्तराखंड सरकार द्वारा देवस्थानम बोर्ड का गठन किया गया था। तीर्थ पुरोहित शुरुआत से ही इसका विरोध कर रहे हैं। बोर्ड को भंग करने की मांग को लेकर तीर्थ पुरोहित महापंचायत ने लंबा आंदोलन भी किया था। अब एक बार फिर तीर्थ पुरोहित मुखर हो गए हैं। उन्होंने पूर्व सीएम त्रिवेंद्र के केदारनाथ पहुंचने पर विरोध किया। उनका कहना है कि त्रिवेंद्र रावत ही देवस्थानम को लाने वाले हैं।
सोमवार को त्रिवेंद्र सिंह रावत को संगम स्थित पुल से आगे नहीं जाने दिया गया। तीर्थ पुरोहित एवं हक-हकूकधारियों ने इस दौरान खूब नारेबाजी की और उनका जमकर विरोध किया। जिसके बाद त्रिवेंद्र सिंह रावत बिना दर्शन किए ही लौट गए।
इस दौरान भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक व कैबिनेट मंत्री धन सिंह रावत भी केदारनाथ धाम पहुंचे थे। उन्हें भी तीर्थ पुरोहितों का विरोध झेलना पड़ा, हालांकि उन्होंने धाम में दर्शन किए।
उत्तराखंड सरकार के आश्वासन के बाद भी देवस्थानम बोर्ड व एक्ट वापस नहीं होने पर तीर्थ पुरोहितों ने सोमवार को गंगोत्री और यमुनोत्री में भी बंद रखा।
दोनों धामों में भी पूजा सामग्री सहित अन्य व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रहे। वहीं इस दौरान तीर्थ पुरोहितों ने नारेबाजी करते हुए रैली भी निकाली।
दोनों धामों में नियमित पूजा-पाठ और दर्शन सामान्य दिनों की तरह ही हो रहे हैं। गंगोत्री में भागीरथी घाट पर पुरोहितों ने विरोध स्वरूप पूजा बंद की।